Mp03.in संवाददाता  भोपाल :

गांधीनगर में संचालित निजी अस्पताल के संचालक को उसके ही छह महीने पहले ही काम पर रखे मैनेजर ने 12 लाख रुपये की चपत लगा दी।

गांधीनगर पुलिस के अनुसार दीपक दीक्षित गांधीनगर रोड पर श्रद्धा अस्पताल का संचालन करते हैं। श्रद्धा अस्पताल संचालक दीपक दीक्षित ने थाने में शिकायत दर्ज कराई, जिसमें श्रद्धा अस्पताल संचालक दीपक दीक्षित ने बताया कि इसी वर्ष फरवरी माह में सागर निवासी 37 वर्षीय अनुज सिंघई को उन्होंने अस्पताल में मैनेजर के पद पर रखा था। जुलाई को बैंक द्वारा श्रद्धा अस्पताल संचालक दीपक दीक्षित को सूचित किया गया कि आपका खाता बंद हो चुका है, लेकिन उसके चैक जमा किए जा रहे हैं। जिसके बाद श्रद्धा अस्पताल संचालक दीपक दीक्षित को छह महीने पहले ही काम पर रखे मैनेजर सागर निवासी 37 वर्षीय अनुज सिंघई के फर्जीवाड़े के बारे में पता चला।आरोपी जालसाज मैनेजर सागर निवासी 37 वर्षीय अनुज सिंघई श्रद्धा अस्पताल संचालक दीपक दीक्षित की चैक बुक पर उनके फर्जी साइन कर चैक को अपने बैंक खाते में लगा देता था। साथ ही आरोपी जालसाज मैनेजर  सागर निवासी 37 वर्षीय अनुज सिंघई दूसरी पार्टियों को आनलाइन भुगतान करने का बहाना बनाकर श्रद्धा अस्पताल संचालक दीपक दीक्षित से ओटीपी लेता और अस्पताल के बैंक खाते से रुपये अपने खाते में ट्रांसफर कर लेता था।अस्पताल संचालक को बैंक द्वारा फर्जी चेक लगाए जाने की सूचना मिली, जिसके बाद श्रद्धा अस्पताल संचालक दीपक दीक्षित ने आरोपी जालसाज मैनेजर सागर निवासी 37 वर्षीय अनुज सिंघई के विरुद्ध गांधीनगर पुलिस थाने में शिकायत की।  भनक लगते ही आरोपी जालसाज मैनेजर सागर निवासी 37 वर्षीय अनुज सिंघई फरार हो गया।

श्रद्धा अस्पताल संचालक दीपक दीक्षित ने बैंक खातों से रुपयों के लेन-देन में गड़बड़ी पाने पर थाने में शिकायती आवेदन दिया। आवेदन की जांच के बाद पर पुलिस ने शनिवार देर रात आरोपी जालसाज मैनेजर  सागर निवासी 37 वर्षीय अनुज सिंघई के खिलाफ एफआइआर दर्ज कर ली। पुलिस का कहना है कि आरोपित जालसाज सागर निवासी 37 वर्षीय अनुज सिंघई को जल्द ही गिरफ्तार कर लिया जाएगा।